I Love Muhammad विवाद: कानपुर से अहिल्यानगर तक क्यों भड़का माहौल?

यह विवाद 4 सितंबर 2025 को कानपुर (उत्तर प्रदेश) में शुरू हुआ था, जब बारावाफत (Eid-e-Milad-un-Nabi) जुलूस के दौरान एक बैनर लगाया गया जिसमें लिखा था “I Love Muhammad”। यह पहली बार इस तरह का प्रदर्शन हुआ माना गया।
स्थानीय हिंदू समूहों ने इस बैनर पर विरोध किया कि यह एक “नई परंपरा” शुरू करने जैसा है, और यह पारंपरिक मार्ग और स्थानों के प्रयोग में बदलाव था।
पुलिस ने हस्तक्षेप किया। प्रशासन का कहना था कि यह मामला बैनर को लगाने का नहीं, बल्कि नए स्थान पर लगाने या पुराने धार्मिक पोस्टरों को हटाने/तोड़ने का है।
इसके बाद यह विवाद फैल गया, लोगों ने “I Love Muhammad” का नारा, पोस्टर, बैनर आदि के रूप में लगाने शुरू किया, और कई जगहों पर इसका विरोध भी हुआ। आलोचक कहने लगे कि यह विवाद धार्मिक भावनाओं को भड़काने का एक साधन बन गया है, और राजनीतिक ध्रुवीकरण की दिशा की ओर जा रहा है।
तो इस विवाद की जड़ कानपुर से है, लेकिन अब यह अनेक राज्यों में फैला हुआ है।
रंगोली पर संदेश
अहिल्यानगर में मिलीवाडा (Milliwada) इलाके में देर रात एक रंगोली (सड़क पर डिज़ाइन / रंगोली कला) बनाई गई जिसमें लिखा गया था “I Love Muhammad” या “I Love Mohammad”।
वायरल वीडियो / सार्वजनिकराचन
सुबह होते ही उस रंगोळी का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया, जिससे लोगों की नज़र उस पर पड़ी और विवाद खड़ा हो गया।
प्रतिक्रिया, शिकायत और गिरफ्तारी
स्थानीय मुस्लिम समुदाय के लोगों ने पुलिस थाने में शिकायत दर्ज की। एक व्यक्ति को रंगोळी बनाने के आरोप में गिरफ्तार भी किया गया।
रास्ता रोको आंदोलन और प्रदर्शन
गिरफ्तारगी से संतुष्ट न होकर प्रदर्शनकारियों ने अहिल्यानगर, छत्रपति संभाजनगर (Chhatrapati Sambhajinagar) सड़क जाम कर दी।
प्रदर्शन शांतिपूर्ण नहीं रहा जिससे पुलिस के समझाने का प्रयास असफल रहा, फिर कुछ प्रदर्शनकारियों ने पत्थर फेंके। पुलिस को माइल्ड लाठीचार्ज भी करना पड़ा ताकि भीड़ को नियंत्रित किया जा सके।
गिरफ्तारी और हिरासत
पुलिस ने लगभग 30 लोगों को अपनी हिरासत में लिया। पुलिस का कहना है कि स्थिति अब नियंत्रण में है। अधिकारियों ने यह भी कहा कि यह देखा जाना चाहिए कि कहीं कोई साजिश तो नहीं की गई है, जो सामाजिक वातावरण को बिगाड़ना चाहती हो। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी इस ओर संकेत किया है।
वर्तमान स्थिति और प्रतिक्रियाएँ
अहिल्यानगर में बन्दरबस्त (security deployment) बढ़ा दिया गया है ताकि स्थिति फिर से न बिगड़े। पुलिस अभी भी उन व्यक्तियों की पहचान कर रही है जिनके खिलाफ प्रदर्शन, पथराव, अवरोध आदि के आरोपों में FIR दर्ज की गई है।
पुलिस और प्रशासन की ओर से यह दोहरा संदेश गया है: कानून और व्यवस्था होगी, लेकिन किसी भी प्रकार की संवेदनशील धार्मिक भावनाओं को किसी भी प्रकार से भड़काना बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
राज्य की राजनीतिक नेतृत्व ने कहा है कि यह देखा जाना चाहिए कि कहीं इस तरह की घटनाओं के पीछे रार्ज़ (conspiracy) तो नहीं शामिल है, विशेषकर आगामी स्थानीय चुनावों को ध्यान में रखते हुए।
इस विवाद ने राष्ट्रीय स्वरूप ले लिया है, “I Love Muhammad” आंदोलन और विरोध अब कई राज्यों में दिखाई दिख रहा है, और सांप्रदायिक तनाव की आशंका भी बनी हुई दिखाई दे रही है।
पसमांदा मुस्लिम संगठन ने इस बीच युवाओं से शांति बनाए रखने की अपील की है जिससे इस विवाद में भावनाओं के आधार पर प्रतिक्रियाएं न दी जाएँ, और संयम भी बरता जाए।
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